एहसास महकने लगे

 


दो दिल जवाँ होने लगे,

बड़ी ताज़गी के साथ एहसास महकने लगे।


हवा के झोंके भी गुनगुनाने लगे,

तारों के झुरमुट में चांद नज़र आने लगे।


मदहोश धड़कन बेकरार होने लगे,

दिल का करार प्यार होने लगे।


मादक नैनों में नज़र मेहबूबा आने लगे,

मन बावरा मोहब्बत की दुनिया में खोने लगे।


रिमझिम सी फुहार दिल में होने लगे,

बेपनाह प्यार परवान चढ़ने लगे।


@अतुल पाठक " धैर्य "

जनपद हाथरस(उत्तर प्रदेश)

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