संवाददाता -सिद्धार्थ श्रीवास्तव अंबेडकरनगर
अम्बेडकरनगर। ओबीसी की जातिगत जनगणना कराने एवं ओबीसी आरक्षण की क्रीमीलेयर शर्तों में साजिशन बदलाव कर ओबीसी आरक्षण से बड़ी संख्या में बाहर किये जाने सहित अन्य प्रमुख मांगो के सम्बंध में ओबीसी महासभा अम्बेडकरनगर के जिलाध्यक्ष ऋषि कुमार के नेतृत्व में उपजिलाधिकारी अकबरपुर के माध्मय से प्रधानमंत्री को ज्ञापन भेजा गया। ज्ञापन के माध्मय से माॅग किया गया कि ओबीसी महासभा द्वारा भारत सरकार से जनगणना फार्म में ओबीसी की जातिगत जनगणना कराये जाने हेतु ओबीसी कॉलम जोड़ने के लिये विभिन्न स्तरीय ज्ञापन प्रदर्शन किये जाने के बाबजूद सरकार की असंवेदनशीलता के कारण सम्पूर्ण ओबीसी समाज आक्रोशित है अतिशीघ्र ओबीसी कॉलम जोड़े जाने की कार्यवाही सुनिश्चित की जाए। मंडल आयोग की अनुशंसाओ को पूर्णतः लागू करते हुए राज्यवार विधानसभाओ ओर लोकसभा में 353 सीटे आरक्षित की जाए। विभिन्न समाचारों के माध्यमों से ज्ञात हुए सरकार द्वारा ओबीसी आरक्षण में असंवैधानिक क्रीमीलेयर की शर्तों में साजिशन सैलरी, कृषि सहित अन्य आय को भी जोड़कर भविष्य में ओबीसी वर्ग की बहुत बड़ी आबादी को ओबीसी आरक्षण से बाहर किये जाने की सरकार की मंशा का संगठन पुरजोर विरोध दर्ज कराएगा। केंद्र और राज्य सरकार के शासकीय विभागों में ओबीसी के रिक्त पदों (बैकलॉग) के लिये विशेष भर्ती प्रक्रिया की तारीख आगे बढ़ाए जाने पर रोक लगाते हुए रिक्त पदों को अतिशीघ्र भरा जाए। साजिशन ओबीसी वर्ग को शासकीय नौकरियों से बंचित रखने के लिये मध्यप्रदेश डाक विभाग, उत्तराखंड एम्स ऋषिकेश भर्ती, उ प्र 69000 ओवरलेपिंग, राजस्थान एलडीसी भर्ती प्रकरण, एमपीएससी में असिस्टेंट प्रोफेसर (महिला) भर्ती, जैसे देशभर के अन्य भर्ती मामलों में ओबीसी को प्रदत्त वर्तमान ओबीसी आरक्षण सुनिश्चित कराया जाए। शासकीय विभागों का निजीकरण की प्रक्रिया को तत्काल बंद किया जाए। राजस्थान के तर्ज पर मृत्युभोज (सामाजिक कुरीति) को सम्पूर्ण देश में कानून बनाकर रोक लगाई जाए। ओबीसी महासभा ग्वालियर (म.प्र) इकाई के साथियों पर 13 फरवरी 2020 एवं मध्यप्रदेश के छतरपुर में ओबीसी आंदोलन के दौरान शांतिपूर्ण प्रदर्शन के बाबजूद धारा 188 के तहत जबरन केस दर्ज को अविलंब वापस लिया जाये। मध्यप्रदेश-छत्तीसगढ़ में 54 प्रतिषत से अधिक संख्या वाले पिछड़े वर्ग को सरकार द्वारा दिए गए 27 प्रतिषत आरक्षण के विरुद्ध प्रस्तुत याचिकाओ में शासन का पक्ष मजबूती से रखते हुए आरक्षण लागू कराया जाना सुनिश्चित कराया जाए। ओबीसी समाज की कुर्मी, लोधी, कुशवाह, यादव, तेली, सेन, प्रजापति, चैरसिया, निषाद, रजक, सहित अन्य जातियों के लोगो के साथ देशभर में बढ़ते अपराधों को रोकने के लिये कठोरतम जमीनी प्रयास किया जाना सुनिश्चित किया जाए। उपरोक्त मांगो पर तत्काल कार्यवाही कर पिछडे वर्ग को सँख्या के अनुपात में प्रतिनिधित्व देकर, ओबीसी समाज के साथ हो रहे अन्याय अत्याचार पर अंकुश लगाने के लिये कठोरतम कदम उठाए जाएं अन्यथा की स्थिति में ओबीसी महासभा आगामी समय में देशभर में आंदोलन के लिये विवश होगी जिसकी जवाबदेही शासन-प्रशासन की होगी।
ज्ञापन देने में मुख्य रूप से ओबीसी महासभा जिलाध्यक्ष ऋषि कुमार, ओबीसी महासभा प्रदेष महासचिव डॉ0 अमित पटेल, आषुतोष भारतीय नागरिक, एडवोकेट रामनिवास वर्मा, रितेष कुमार, भारत कुमार, अजय कुमार नवनीत कुमार आदि अनेक कार्यकर्ता मौजूद रहें।